Airee Sakhi

कविता शेथ

ऐरी सखी मोरे पिया घर आए ऐरी सखी मोरे पिया घर आए भाग जगे इस आँगन के भाग जगे इस आँगन के अपने पिया के मैं बल बल जाऊ अपने पिया के मैं बल बल जाऊ चरण लगा निर्धन को चरण लगा निर्धन को ऐरी सखी मोरे पिया घर आए जिसका पी संग बीते सावन उस बिरहन की रैन सुहागन जिस सावन मे पिया घर ना आए जिस सावन मे पिया घर ना आए आग लगे उस सावन को आग लगे उस सावन को ऐरी सखी मोरे पिया घर आए ऐरी सखी मोरे पिया घर आए

Written by: HAZRAT AMIR KHUSRAU, KANISHK SETH, KAVITA SETHLyrics © Sony/ATV Music Publishing LLCLyrics Licensed & Provided by LyricFind

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