Zaaya

अभिजीत श्रीवास्तवा

क्यों ये दूरी थी है सवाल यही तुझसे मेरा ना ये ज़रूरी थी क्या ख्याल यही इसपे है तेरा हैं जुदा होके भी मैं न जुदा तुझसे सनम मेहरबान है वो हाँ खुदा भी यूँ लम्हे जो ये तुझे संग मिले ख़ास हैं ज़ाया ना करूँगा मैं हमने कभी जो पल थे बुने पास हैं ज़ाया ना करूँगा मैं ज़ाया ना करूँगा मैं ज़ाया ना करूँगा मैं ज़िन्दगी ये गुज़र गयी थी इतना इंतज़ार किया है तेरा बातें जो अधूरी थी सुनले उनको इस बार ज़रा पा लिया जो अब तुझे प्यार दूंगा इस क़दर बेज़ुबान हो वो ये जहाँ भी यूँ लम्हे जो ये तुझे संग मिले ख़ास हैं(लम्हे) ज़ाया ना करूँगा मैं हमने कभी जो पल थे बुने पास हैं ज़ाया ना करूँगा मैं ज़ाया ना करूँगा मैं ज़ाया ना करूँगा मैं

Written by: ABHIJEET SIRVASTAVA, LIONEL CRASTALyrics © Downtown Music PublishingLyrics Licensed & Provided by LyricFind

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