Aisa Lagta Hai

Prajakta Shukre

कोई चेहरा निगाहो पे छाने लगा कोई अब रोज खाबो में आने लगा आई रुत जो नयी जागे अरमान कई मौसम कोई ग़ज़ल जैसे गाने लगा वरना दिल क्यूँ धड़कता साँसे क्यूँ रुकती नींदे मेरी क्यूँ उडद जाती ऐसा लगता है जैसे नशा होने को है ऐसा लगता है होश मेरा खोने को है वरना दिल क्यूँ धड़कता साँसे क्यूँ रुकती नींदे मेरी क्यूँ उडद जाती ऐसा लगता है अब दिल मेरा खोने को है मेहकी मेहकी फ़िज़ा ने ली अंगड़ाइया नीली नीली है बादल की परछाइया ठंडी ठंडी हवा लाई राग नया गूँजी गूँजी सी हैं जैसे शहनाईया वरना दिल क्यूँ धड़कता साँसे क्यूँ रुकती नींदे मेरी क्यूँ उडद जाती ऐसा लगता है जो ना हुआ होने को है ऐसा लगता है एब्ब दिल मेरा खोने को है वरना

Written by: ANU MALIK, JAVED AKHTARLyrics © Royalty NetworkLyrics Licensed & Provided by LyricFind

Create your own version of your favorite music.

Sing now

Kanto is available on:

google-playapp-storehuawei-store